पर्यावरण संरक्षण और हरियाली को बढ़ावा देने के उद्देश्य से गुरुवार को नाथांवाला हैडवर्क्स परिसर में व्यापक पौधरोपण कार्यक्रम आयोजित किया गया। यह आयोजन हरियालो राजस्थान अभियान के अंतर्गत आरयूआईडीपी और एलएण्डटी की ओर से किया गया। कार्यक्रम की अगुवाई सहायक अभियंता मनीष बिश्नोई और कनिष्ठ अभियंता सरोज पंवार ने की।
कार्यक्रम के दौरान परिसर में उत्साहपूर्ण माहौल देखने को मिला। स्थानीय अधिकारियों, कर्मचारियों और आमजन ने मिलकर सैकड़ों पौधे लगाए और उनके संरक्षण का संकल्प भी लिया। आयोजन की खास बात यह रही कि पौधारोपण मियावाकी पद्धति से किया गया, जो कम स्थान में अधिक और घने पौधों को विकसित करने की वैज्ञानिक पद्धति मानी जाती है। इस पद्धति के माध्यम से परिसर में करीब 500 से अधिक फलदार और छायादार पौधे लगाए गए।
मियावाकी तकनीक से पौधारोपण की विशेषता यह है कि इसमें पौधों को आपस में बेहद नज़दीक लगाया जाता है, जिससे वे तेजी से बढ़ते हैं और कम समय में घना जंगल तैयार हो जाता है। विशेषज्ञों का मानना है कि इस पद्धति से लगाए गए पौधे साधारण पौधारोपण की तुलना में 10 गुना तेजी से बढ़ते हैं और उनकी उम्र भी लंबी होती है। यही कारण है कि अब राजस्थान में कई स्थानों पर इस पद्धति को अपनाया जा रहा है।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सहायक अभियंता मनीष बिश्नोई ने कहा कि जलवायु परिवर्तन और प्रदूषण की चुनौतियों का समाधान केवल वृक्षारोपण और हरियाली को बढ़ाने से ही संभव है। उन्होंने कहा कि हर व्यक्ति को वर्ष में कम से कम एक पौधा अवश्य लगाना चाहिए और उसकी देखभाल करनी चाहिए। कनिष्ठ अभियंता सरोज पंवार ने कहा कि पौधे हमारे जीवन का आधार हैं। इन्हें केवल लगाना ही नहीं, बल्कि इनकी नियमित देखरेख भी ज़रूरी है।
आयोजन में मौजूद कर्मचारियों ने भी पौधों की सुरक्षा का जिम्मा उठाने का वादा किया। सभी ने मिलकर यह तय किया कि लगाए गए पौधों को समय-समय पर पानी दिया जाएगा और उनकी सुरक्षा के लिए उचित प्रबंध किए जाएंगे।
पर्यावरण प्रेमियों का कहना है कि इस तरह के कार्यक्रम समाज के लिए बेहद प्रेरणादायी होते हैं। इससे न केवल पर्यावरण संतुलन बना रहेगा, बल्कि भविष्य की पीढ़ियों के लिए स्वच्छ हवा और हरियाली भी सुनिश्चित होगी। स्थानीय नागरिकों ने इस पहल की सराहना करते हुए कहा कि यह प्रयास जलवायु परिवर्तन की चुनौतियों का सामना करने में महत्वपूर्ण साबित होगा।
ज्ञात रहे कि हरियालो राजस्थान अभियान राज्य सरकार की एक महत्त्वपूर्ण पहल है, जिसका उद्देश्य प्रदेश को हरित और प्रदूषणमुक्त बनाना है। इस अभियान के तहत विभिन्न जिलों में सरकारी संस्थानों, शैक्षणिक परिसरों और सार्वजनिक स्थलों पर बड़े पैमाने पर पौधारोपण किया जा रहा है।
नाथांवाला हैडवर्क्स परिसर में हुए इस पौधारोपण कार्यक्रम ने न केवल पर्यावरण संरक्षण का संदेश दिया, बल्कि यह भी दिखाया कि सामूहिक प्रयासों से हरियाली का सपना साकार किया जा सकता है। अधिकारियों ने उम्मीद जताई कि आने वाले वर्षों में यह परिसर घने और हरे-भरे वृक्षों से आच्छादित होगा, जो स्थानीय लोगों को छाया और ताज़ी हवा उपलब्ध कराएगा।
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